Wednesday, May 24, 2023

खटमल और जूं की कहानी

एक बार की बात है एक बड़े से राज्य के राजा के शयनकक्ष में एक जूं रहती थी |

रोज जब राजा गहरी नींद में सो जाता था तो वह धीरे से उसके पास जाकर उसका खून चूसकर वापस अपने स्थान पर चली जाती थी |

कई दिनों तक ऐसा ही चलता रहा लेकिन एक दिन पूरे रज्य में बहुत ही तेज आंधी चल रही थी जिसके कारण एक खटमल उड़कर राजा के शयनकक्ष में जा पहुंचा | 

राजा का इतना सुन्दर शयनकक्ष देखकर उसके होश उड़ गए |


अचानक उस जूं की नजर उस खटमल पर पड़ी और उसने खटमल को वहां से जाने के लिए कहा |
किसी और कीट का उसके क्षेत्र में घुस आना उसको बिलकुल भी पसंद नहीं आ रहा था इसलिए वह बस खटमल को वहां से भगाने की कोशिश करती रही | 

खटमल समझ गया कि जरूर कोई बात है तभी यह जूं उसे यहाँ से भगाना चाहती है |

उसने जूं से प्यार से बात कीं और हालचाल पूछते-पूछते सब उगलवाना चालू कर दिया और जूं ने भी उसकी बातों में आकर अपने सारे भेद खोल दिए |

जूं ने उसे बताया कि कैसे वो रोज रात में राजा का खून चूसती है और उसको खाने की कोई भी कमी नहीं है |

यह सुन खटमल की आँखें चौड़ गई और उस ने जूं से एक रात के लिए उसका मेहमान बनने की इच्छा जाहिर करी |

जूं भी उसकी चिपड़ी-चुपड़ी बातों में आ गयी और एक रात के लिए उसे मेहमान बना लिया |

रात होने तक उन दोनों ने खूब बातें करीं और एक-दूसरे को अपने-अपने किस्से सुनाये |

रात को खाना खाने के बाद जैसे ही राजा अपने कक्ष में पहुँचा तो उसका हट्टा-कट्टा शरीर देखकर खटमल के मुँह से पानी आ गया और वह उसका खून चूसने के लिए दौड़ा |

यह देख जूं ने उसे रोका और राजा का खून चूसने से मन कर दिया | 

खटमल ने कहा कि वह तो उसका मेहमान है क्या वह उसको भोजन नहीं करवाएगी ?

यह सुन जूं उसकी बातों में आ गयी और उस ने उसे राजा का खून चूसने की इजाजत दे दी | 

अब जैसे ही राजा गहरी नींद में सोया, खटमल ने जाकर उसका खून चूसना चालु कर दिया |

खून इतना स्वादिष्ट था कि खटमल से रहा ना गया और उसने और जोर-जोर से उसका खून चूसना चालू कर दिया | 

जोर से खून चूसने के कारण राजा को दर्द होने लगा और उसकी नींद खुल गयी |

क्रोध में राजा ने अपने सैनिकों को बुलाया और उस कीट को मारने के लिए कहा जिसने उसका खून चूसा था |

राजा के जागने के बाद खटमल तुरंत वहां से भाग गया लेकिन वो जूं वहीँ फँस गयी और राजा के सैनिकों ने उसको पकड़कर मार दिया |

शिक्षा-हमें कभी भी किसी अजनबी पर विश्वास नहीं करना चाहिए और ना ही उसे खुद के सारे भेद बताने चाहिए |

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